चुंदड़ी मखमल की,मखमल की, उसके चारों पल्ले लाल।
Tag: Gar jor mero chale chunari udhau tane lakh ki
रंग दे चुनरिया ओ गिरधारी
गाड़ी अटक अटक कर चाले इम्मे, कूड़ा फंस गया रे,गाड़ी अटक अटक कर।
सिया राम लखन मेरे तीनों किस हाल में होंगे।
मेरा लाख टके का झुनझुना,
में तो ल्याई कटरा से मोल, झनाझन बाजे झुनझुना,
मेरा लाख टके का झुनझना, खाटू ते ल्याई मोल, झना झन बाजे झुनझना।
जहां बिराजे शीश का दानी,मेरा लखदातार।चलो रे खाटू के दरबार।
तू ही कन्हैया तू ही लखदातार है,
गर जोर मेरो चाले चुनरी उढ़ाऊं तने लाख की।