बाँध के घुंगरू नाचे हनुमत बाला जी
Tag: Apni payal ka ghunghru bana lo mujhe
सांवरिया थारा घुंघर वारा रे बाल।
श्याम सलोना रूप है तेरा,
घुंघराले है बाल,
एसो रास रचयो वृन्दावन,बज रही पायल की झंकार
श्याम सलोना रूप है तेरा,
घुंघराले है बाल,
घुंघटीयों झीणों झीणों,
सांवरिया नैण मिला ले रे,
मेरी बिगड़ी कौन बनाएं,
मेरा संकट कौन मिटाएं,
तेरी रुनझुन रुनझुन होय श्याम की बाज रही पायलिया।
मुखड़ा लगे बड़ो प्यारो कि राधा रानी घुंघटा न डालो।
ओ श्याम जी हमें ना भुलाना,
अपनी शरण में दे दो ठिकाना,
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