चले आओ
तड़पता है तेरा ये दास संभालो,
Tag: dasi apni
लेना खबर हमारी हरिदास के बिहारी ।
श्याम तू क्या जाने,
खड़ा है कोने में एक दास,
शरण तेरी आया है,
दास घबराया है,
ओ श्याम जी हमें ना भुलाना,
अपनी शरण में दे दो ठिकाना,
तेरे रंग में रंग गई सांवरे मैने छोड़ दिया घर बार,
दासी अपनी राख ले।