बांसुरिया लेकर आजा घनश्याम कदम के नीचे।
Tag: Ghanshyam teri banshi pagal kar jati hai
मैं तो दौड़ी आयी जमुना के तीर कन्हैया तेरी बंसी बजी।
बाबा मेरे श्याम मैं तुझपे कुर्बान,
सपना में देख्यो रे म्हाने,
श्याम धणी दातार,
बंसी वाला कहां सो रहा है, तेरी दुनियां में क्या हो रहा है।
याद किया ना कभी श्याम को, बस माया ही जोडी।
श्याम चाहे वही जो होना है। मेरा श्याम सलोना है।
मेरी भरी मटकिया ले गयो कान्हा बंशी वालो ।
ओ श्याम जी हमें ना भुलाना,
अपनी शरण में दे दो ठिकाना,
मेरे श्याम बदल ना जाना,
रुत बदले चाहे दिन बदले,
चाहे बदले सारा ज़माना,
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