राधे मेरी स्वामिनी,में राधे को दास,
Tag: Aaj hum nachenge radhe ke darwar
यह कौन गुजरि आगी,आज म्हारे राधिका रास में।
खाटू वाले श्याम तेरा, सच्चा दरबार है,
तेरी जय जयकार बाबा, तेरी जय जयकार है।
देखो प्यारे श्याम का ये दरबार है,
हर भगतो का होता बेडा पार है,
तेरे दरबार में सर झुकाती रहूं ।
तू बुलाता रहे और मैं आती रहूं।।
जाना जब भी श्याम दरबार,
शुकर हर बार करना,
दो दो ना धरियो गगरिया राधे रानी, लग जेह तुमको नजरिया।
राधे राधे की कुंजी से,खुलेगा ताला श्याम का।
तुझे किसने सजाया औ राधे। तूं दुल्हन सी लागे ओ राधे।
राधे जी के हृदय पटल पर वास तिहारो बिहारी।
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