हरी मिलते है दिल को लगाने से
Tag: Chetawani bhajan lyrics निर्गुण भजन लिरिक्स
मिट जायेंगे सारे कलेश, अंखियां खोल हरी को देख
संतों सुरगां सूं आग्यो टेलीफोन,बुलाओ आग्यों राम को।
एकबार भजन कर ले,मुक्ति का जतन कर ले।
किसी के काम जो आए उसे इंसान कहते हैं
सुन सुन रे म्हारी काया ये रंगीली
गुरूजी मेरी काया की बन गई रेल। रेल बड़ी अजब निराली है।
मान मेरा कहना नहीं तो पछताएगा
जिंदगी एक किराए का घर है
में तो बेचूं जी प्रभु को नाम,मिठाई ले लो अलबेली
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