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रानीसती दादी भजन लीरिक्स

Dadi bhajan,gaje baje se padharo dadi aaj, गाजे बाजे से पधारो दादी आज उड़ीके थारा टाबरिया

गाजे-बाजे से पधारो दादी आज, उड़ीके थारा टाबरिया।

तर्ज,म्हाने अबके तो बचाले मेरी माय

गाजे-बाजे से पधारो दादी आज, उड़ीके थारा टाबरिया।२।

सोन चिड़ी तो सुगन मनावे,कोयल कुक सुनावे। बन में नाचे मोर पपीहा, झूम झूम कर गावे।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹 मुल्के पूरब में मां सुनीलो प्रभात।उड़ीके थारा टाबरिया।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹गाजे-बाजे से पधारो दादी आज, उड़ीके थारा टाबरिया।

चम चम चमके चुनर थारी, चुड़लों भी चमकावे। धरती घूमर खावे मैया, सेवक चंवर डूलावे।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹 सब सेवक निरखे मां, थारो श्रृंगार।उड़ीके थारा टाबरिया।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹गाजे-बाजे से पधारो दादी आज, उड़ीके थारा टाबरिया।

माता थारा लाल लाडला, उपमनिया भरमावे। मन में उठे हिलोर ओ दादी, याद तुम्हारी आवे। आच्छो लागे म्हाने भादूडो त्योहार।उड़ीके थारा टाबरिया।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹गाजे-बाजे से पधारो दादी आज, उड़ीके थारा टाबरिया।

अन्न पाणी रे टोटे सु मां, बिलखे लोग लुगाई।भुखमरी से फैली बेकारी,कमर तोड़ महंगाई।बेगा आओ मां बचाओ म्हारी लाज,उड़ीके थारा टाबरिया।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹गाजे-बाजे से पधारो दादी आज, उड़ीके थारा टाबरिया।

अन्न धन से भंडार भरो मां घर-घर हो दिवाली। अबचल रहते आन खिले या भगतां की फुलवारी।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹 उमड़े हिवडे में मां आनंद अपार,उड़ीके थारा टाबरिया।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹गाजे-बाजे से पधारो दादी आज, उड़ीके थारा टाबरिया।

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