तर्ज, नखरालो देवरियो
हठ पकड़े नंदलाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।चंदा ला दे रे मोहे चंदा ला दे।🌛🌛🌛🌛हठ पकड़े नंदलाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
मात यशोदा बोली लाला,ना रो मेरे होते।२। हाय रे कैसी लाल हुई है,अंखियां रोते रोते।क्या में नहीं तेरा लाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
हठ पकड़े नंदलाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
चंदा मामा दूर बसे है,कैसे लेकर आऊं।२।फिर भी तूं ना माने तो में,थाली में दिखलाऊं।🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛मेरा लाल है तूं मतवाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
हठ पकड़े नंदलाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
इतना कहकर मात यशोदा,थाली लेकर आई।२।पानी भरकर दिखलाई है,चंदा की परछाई।🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛तब मुस्काए गोपाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
हठ पकड़े नंदलाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
कृष्ण कन्हैया खुश होकर के,लगे बजाने ताली।२।मैया के बहकावे में आ,फंस गए वो मायाधारी।🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛🌛मेरा छोटा सा है लाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।
हठ पकड़े नंदलाला,मैया री मोहे चंदा ला दे।