तर्ज,जिंदगी प्यार का गीत है
सांवरा जब मेरे साथ है,मुझको डरने की क्या बात है।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹इसके होते कोई कुछ कहे,बोलो किसकी ये औकात है।
सांवरा जब मेरे साथ है,मुझको डरने की क्या बात है।
छाए काली घटाएं तो क्या,इसकी छतरी के नीचे हुं में।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹आगे आगे ये चलता मेरे,मेरे मालिक के पीछे हूं में।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹पकड़ा इसने मेरा हाथ है।मुझको डरने की क्या बात है।
सांवरा जब मेरे साथ है,मुझको डरने की क्या बात है।
इसकी महिमा का,वर्णन करूं,मेरी वाणी में वो दम नही।जब से इसका सहारा मिला।अब सताए कोई, गम नही।🌹🌹🌹🌹बाबा करता करामात है।🌹🌹🌹🌹🌹मुझको डरने की क्या बात है।
सांवरा जब मेरे साथ है,मुझको डरने की क्या बात है।
क्यों में भटकूं यहां से वहां,इसके चरणों में है बैठना।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹झूठे स्वार्थ के रिश्ते सभी,श्याम प्रेमी से नाता बना।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹ये कराता मुलाकात है।मुझको डरने की क्या बात है।
सांवरा जब मेरे साथ है,मुझको डरने की क्या बात है।
जहां आनंद की लगती झड़ी,ऐसी महफिल सजाता है ये।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹भक्त क्यों न दीवाना बने,ऐसे जलवे दिखाता है ये।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹दिल चुराने में विख्यात है।मुझको डरने की क्या बात है।
सांवरा जब मेरे साथ है,मुझको डरने की क्या बात है।