आदित्य हृदय स्त्रोतम
Category: विविध भजन
घर धंधे में भूली मेरे रामा।
छोड़ो छोड़ो यह घर का झमेला, चलो अयोध्या में लग गया मेला।
एक सच्चे सतगुरु ज्ञान बिना,दुनिया में अपना कोई नहीं,
किसी का रहा नहीं अभिमान।
भाया मिनख जमारो अनमोल बाता थारी रह जासी।
रे मन ये दो दिन का मेला रहेगा,
बजाओ राम नाम की ताली।
बजाओ दोनों हाथ उठा के ताली राम नाम की जी।
हा रे आखिर मरणो रे
You must be logged in to post a comment.