हम पागल प्रेमी वृन्दावन धाम के ,
ऐसा वैसा समझो ना हम पागल बड़े ही काम के ,
हम पागल प्रेमी …………….,
कोई हमको पागल बोले कोई बोले दीवाना ,
वो भी अपना जैसा हो गया जिसने देखा बरसाना ,
आशिक़ समझो या आवारा हम तो हैं घनश्याम के ,
हम पागल प्रेमी वृन्दावन धाम के ,
ऐसा वैसा समझो ना हम पागल बड़े ही काम के।
हमें गर्व है पागल हैं हम श्याम धणी के प्यार में ,
हम जैसा किस्मत वाला ना होगा इस संसार में ,
लाडले हैं हम राधा जू के फैन श्याम के नाम के ,
हम पागल प्रेमी वृन्दावन धाम के ,
ऐसा वैसा समझो ना हम पागल बड़े ही काम के
जो भी दिल में आ जाये हम फ़ौरन ज़ाहिर करते हैं ,
जिस पर मोहित हो जाए हम जान भी हाज़िर करते हैं ,
प्रेम की भाषा हम पहचाने प्रेमी बाबा श्याम के ,
हम पागल प्रेमी वृन्दावन धाम के ,
ऐसा वैसा समझो ना हम पागल बड़े ही काम के।