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मीरा बाई भजन लिरिक्स

Rana ji ab na rahungi tor hath ki,राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की,meera bhajan

राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की

राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की
राणा जी…हे राणा जी
राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की

साधु संग मोहे प्यारा लागे
लाज गई घूंघट की
हार सिंगार सभी ल्यो अपना
चूड़ी कर की पटकी।

राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की
राणा जी…हे राणा जी
राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की।


महल किला राणा मोहे न भाए
सारी रेसम पट की
राणा जी… हे राणा जी
जब न रहूंगी तोर हठ की।

राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की
राणा जी…हे राणा जी
राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की।


भई दीवानी मीरा डोले
केस लटा सब छिटकी
राणा जी… हे राणा जी!
अब न रहूंगी तोर हठ की।

राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की
राणा जी…हे राणा जी
राणा जी अब न रहूंगी तोर हठ की।

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