पहले मनाऊं तुम्हारे चरन, गिरिजा के ललन गिरजा के ललन।
प्रथम देव गणपति की पूजा, 🌺🌺🌺🌺🌺
शंकर जी के प्यारे ललन गिरजा के ललन।🌺पहले मनाऊं तुम्हारे चरन, गिरिजा के ललन गिरजा के ललन।
भोर होत मुख मंजन कीन्हा,🌺🌺🌺🌺🌺
चले गंगा स्नान करन, गिरिजा के ललन।🌺🌺पहले मनाऊं तुम्हारे चरन, गिरिजा के ललन गिरजा के ललन।
चावल चंदन बेल की पाती ,🌺🌺🌺🌺🌺
फूल चढ़ाऊं वरन वरन गिरिजा के ललन।🌺पहले मनाऊं तुम्हारे चरन, गिरिजा के ललन गिरजा के ललन।
धूप दीप नैवेद्य आरती,🌺🌺🌺🌺🌺🌺
भोग लगाऊ वरन वरन,गिरिजा के ललन, गिरिजा के ललन।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺पहले मनाऊं तुम्हारे चरन, गिरिजा के ललन गिरजा के ललन।
4. घंटी झांझर शंख बजाऊं, करूं आरती होके मगन।गिरिजा के ललन, गिरिजा के ललन।🌺पहले मनाऊं तुम्हारे चरन, गिरिजा के ललन गिरजा के ललन।
5. तुलसीदास आस रघुवर के, शीश झुकाऊं तुम्हारे चरन,गिरिजा के ललन,गिरिजा के ललन।पहले मनाऊं तुम्हारे चरन, गिरिजा के ललन गिरजा के ललन।