तर्ज, होलिया में उड़े री गुलाल
सज धज के बैठी है माँ,
लागे मैया सेठानी।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺लागे मैया सेठानी,लागे मैया सेठानी।
सज धज के बैठी है माँ,
लागे मैया सेठानी।
किसने मैया जी तेरी चुनरी बनाई।🌺🌺
किसने मैया जी तेरी चुनरी बनाई।
चुनरी बनाई तेरे सिर पे सजाई।
चुनरी में तार हज़ार,लागे मैया सेठानी।सज धज के बैठी है माँ,
लागे मैया सेठानी।
किसने मैया जी तेरी पायल बनाई।🌺🌺
किसने मैया जी तेरी पायल बनाई।
पायल बनाई तेरे पैरो में पहनाई।
पायल में घुंघरू हजार,लागे मैया सेठानी।सज धज के बैठी है माँ,
लागे मैया सेठानी।
किन किन हाथों में मैया मेहंदी लगाऊँ।
किन किन हाथों में मैया मेहंदी लगाऊँ।
मेहंदी लगाऊं तेरे हाथों में रचाऊँ।🌺🌺
मैया जी के हाथ है हजार,लागे मैया सेठानी।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺सज धज के बैठी है माँ,
लागे मैया सेठानी।
मेरी माता के नवराते है आए।🌺🌺🌺🌺
मेरी मैया के नवराते है आए।
सब मिलकर माँ की ज्योति जगाए।
भक्त लगाए जय जयकार,लागे मैया सेठानी।सज धज के बैठी है माँ,
लागे मैया सेठानी।