हनुमान तुम्हारे द्वारे पर, एक दास भिखारी आया है।प्रभु दर्शन भिक्षा पाने को,दो नयन कटोरे लाया है।
नहीं दुनियां में कोई मेरा है,आफत ने मुझको घेरा है।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺जग ने मुझको ठुकराया है,बस एक सहारा तेरा है।
हनुमान तुम्हारे द्वारे पर, एक दास भिखारी आया है।प्रभु दर्शन भिक्षा पाने को,दो नयन कटोरे लाया है।
मेरी बीच भंवर में नैया है,एक तूं ही पार लगाईया है। 🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺लाखों को ज्ञान सिखाया है,भव सिंधु से पार लगाया है।
हनुमान तुम्हारे द्वारे पर, एक दास भिखारी आया है।प्रभु दर्शन भिक्षा पाने को,दो नयन कटोरे लाया है।
धन दौलत की कोई चाह नहीं,घरबार छूटे परवाह नहीं।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺मेरी इच्छा है तेरे दर्शन की,संकट से मन घबराया है।
हनुमान तुम्हारे द्वारे पर, एक दास भिखारी आया है।प्रभु दर्शन भिक्षा पाने को,दो नयन कटोरे लाया है।
आपस में कुछ भी प्रेम नहीं,प्रभु तुम बिन हमको चैन नहीं।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺अब जल्दी आकर सुध ले लो,संकट से मन घबराया है।
हनुमान तुम्हारे द्वारे पर, एक दास भिखारी आया है।प्रभु दर्शन भिक्षा पाने को,दो नयन कटोरे लाया है।