तर्ज, होलिया में उड़े री गुलाल
सपने में होग्या रे कमाल,मैया जी मेरे घर आगी।मैया जी मेरे घर आगी,मैया जी मेरे घर आगी।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺शेर पर होकर सवार,मैया जी मेरे घर आगी।
आगे आगे बजरंग बाला।पीछे पीछे भैरव चाले।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺बीच में हो शेर पे सवार,मैया जी मेरे घर आगी।सपने में होग्या रे कमाल,मैया जी मेरे घर आगी।
भूल गई में अपनी सुध बुध।२।देख के मां का रूप वो अदभुत।२।🌺🌺🌺🌺🌺🌺में तो एकटक रही थी निहार,मैया जी मेरे घर आगी।सपने में होग्या रे कमाल,मैया जी मेरे घर आगी।
भक्तों में था आनंद छाया।रूप देखकर मां का प्यारा।२।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺सब बोल रहे थे जय जयकार,मैया जी मेरे घर आगी।सपने में होग्या रे कमाल,मैया जी मेरे घर आगी।
आज मैने मां अर्जी लगाई।आश पुराओं जग जननी माई।२।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺मेरा सपना करो साकार,मैया जी मेरे घर आगी।सपने में होग्या रे कमाल,मैया जी मेरे घर आगी।