मने ईबके तो बचाले मेरी माय बताउडो आयो लेवण ने।
पांच कोटड़ी दस दरवाजा, ई काया के मांय। लुकती छिपती हार गई में,छिपती ने छोड़ी नाय।☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️मने ईबके तो बचाले मेरी, माय बताउडो आयो लेवण ने।
बोली कन्या सुन मेरी बात,एकबार बाहर आय।हाथ जोड़ बटाऊ के आगे, ईबके ले तूं बचाए।मने ईबके तो बचाले मेरी, माय बताउडो आयो लेवण ने।
बोली बुढ़िया सुनो बटाऊ,एक हमारी बात।☀️मेरी कन्या भोली भाली, ईबके कर दे माफ।☀️मने ईबके तो बचाले मेरी माय बताउडो आयो लेवण ने।
कहे बटाऊ सुन री बुढ़िया, तूं भी हमारी बात।हुकुम मेरे मालिक को होगयो,आयो में आधी रात।☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️मने ईबके तो बचाले मेरी माय बताउडो आयो लेवण ने।
सावन का दिन सत्तरह बित्या,हुई तीज प्रभात।खेलन की म्हारे मन में बांकी,सहेलियां रे साथ।मने ईबके तो बचाले मेरी माय बताउडो आयो लेवण ने।
भाई बंधु कुटुंब कबीला, सिर पर फेरे हाथ। पांच भाई की बहन लाडली, कोई ना चालयो साथ।☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️मने ईबके तो बचाले मेरी माय बताउडो आयो लेवण ने।
ई सासरिया सबने जानों,सुनो सज्जन चित्त लाय। कहत कबीर सुनो भाई साधो, हरीसे चित्त लगाए।☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️☀️मने ईबके तो बचाले मेरी माय बताउडो आयो लेवण ने।