हमें रास्तों की जरूरत नहीं है,हमें तेरे चरणों के निशांन मिल गये हैं,हमें…. तुम ही से ज्ञान का दिपक जला है,तुम से घनघोर अंधेरा मिटा है,तुम जो नहीं हो प्रभु जी, कुछ भी नहीं है,हमें…. तुम ही हो शिव ओर ब्रम्हां तुम्हीं हो,सब कुछ तुम्हारा सब तुमको अर्पंण,अब तेरा मैं हूं, मुझमें ही तूं है,हमें…. […]