सार शब्द ले बाचीयो,
मानोनी इतबारा,
Category: विविध भजन
संत सिंगाजी महाराज, लगय गया बाड़ी,
करने दर्शन चरणों में दाता जी
हम दर पे तेरे रोज आएंगे,
ऐंवे रूसिया ना कर मेरी जान सजना,
दाता जी मैं फकीर हो गया।
सुर की गति मैं क्या जानूँ .
एक भजन करना जानूँ ..
चरखे का खोल बनाया कारीगर कहां से आया।
अरे गऊ माता रोवे खड़ी रे तबेले में,
शहेरिये में बाज रही बीन बंशी,
घोगा आले साध बाबा,मैने दर्श दिखादे न,
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