बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।श्री जी भी तो मिलेगी, मुझको तो यह यकि है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।
जिस दिन से ब्रज की रज को मस्तक से है लगाया।जिस दिन से ब्रज की रज को मस्तक से है लगाया। तेरे साथ साथ रहता तेरी लाडली का साया। ऐसा लगे है मेरे ना पैरों तले जमीं है।।श्री जी भी तो मिलेगी, मुझको तो यह यकि है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।
संतों का स्पर्श पाकर मुझे छू गई हवाएं। महलों का कोना कोना मुझे दे रहा दुआएं।संतों का स्पर्श पाकर मुझे छू गई हवाएं। महलों का कोना कोना मुझे दे रहा दुआएं। नस नस में अब तो मेरे इनकी छबी रमी है।।श्री जी भी तो मिलेगी, मुझको तो यह यकि है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।
बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।श्री जी भी तो मिलेगी, मुझको तो यह यकि है।बरसाना मिल गया है किस चीज की कमी है।