Categories
श्याम भजन लिरिक्स

Chadh baithyo udan khatole me,चढ़ बैठ्यो उड़न खटोलै मं,shyam bhajan

चढ़ बैठ्यो उड़न खटोलै मं

मस्तानी मुस्कान खिल्यो है,
श्याम बसन्ती चोलै मं ।
देख सितम को नूर तेरो,
चढ़ बैठ्यो उड़न खटोलै मं ।।



पाँव पांगड़े मांही म्हैल्यो,
ज्यूं कोई दूर की त्यारी है,
यूँ लागै है ज्यूं कोई एंकै,
भगतां की पत जा रही है,
दृष्टि दया की करदे भरदे,
प्यार भगत कै झोळै मं ।
देख सितम को नूर तेरो,
चढ़ बैठ्यो उड़न खटोलै मं ।।



तेरै बांकपणै कै सैं ही,
कुदरत भी ढीली पड़गी,
मधुरी – मधुरी बैण तेरी,
ऐं हिवड़ै कै मांही गडगी,
विधना कोई कसर ना छोड़ी,
श्याम गज़ब कै गोळै मं ।
देख सितम को नूर तेरो,
चढ़ बैठ्यो उडन खटोलै मं ।।



लीलै घोड़े वाळो तूं है,
तूं ही शीश को दानी है,
कळजुग को सरकार देवता,
तेरी अमर कहानी है,
ज्यूं पूनम को चाँद कन्हैया,
तूं भगतां कै टोळै मं ।
देख सितम को नूर तेरो,
चढ़ बैठ्यो उड़न खटोलै मं ।।



श्यामबहादुर रै साँवरिया,
तेरो काम अनूठो है,
‘शिव’ भी तो दरबार मं तेरै,
जीवन को रस लुट्यो है,
बो नखरालो प्राण सैं प्यारो,
जीव पड्यो अनमोलै मं ।
देख सितम को नूर तेरो,
चढ़ बैठ्यो उड़न खटोलै मं ।।

Leave a comment