जब जब मैंने तुझे पुकारा दौड़ के आ जाता है। मेरे दुख में दुखी तू रहता सुख में मुस्काता है।मेरे यार कन्हैया तूं,मेरे प्यार कन्हैया।
सांसो की माला पर मैंने तेरा नाम लिखा है। दिल से मैंने तेरे दिल को यह पैगाम लिखा है। लुका चुप्पी खेल रहा क्यों मेरे साथ कन्हैया। ऐसा भी क्या मांग लिया बस तेरा साथ कन्हैया। इतना क्यों इतराता है मेरे यार कन्हैया तु।
कंकर मार के चल माखन की मटकी तोड़े हम। वक्त के दरिया को चल आजा पीछे छोड़े हम। चले बिरज की भूमि पर पीपल की छांव के नीचे। आगे आगे तू चलना मैं रहूंगा पीछे पीछे। इतना क्यों सताता है मेरे यार कन्हैया तू।
तेरी मेरी यारी पक्की पक्का याराना है। तू माने ना माने पर मैंने तुझको माना है। छल करना तेरी आदत है इतना मैं भी जानू। छल कर देख मेरा दिल तुझको तब जाकर मैं मानू। बता अपना क्या नाता है ओ मेरे यार कन्हैया तू।
जब जब मैंने तुझे पुकारा दौड़ के आ जाता है। मेरे दुख में दुखी तू रहता सुख में मुस्काता है।मेरे यार कन्हैया तूं,मेरे प्यार कन्हैया।