मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।
सुवा रंग चोला पहन सखी मैं, चिरमट खेलन जाती ये। चिरमट खेलती नै मिलयो सांवरो, घाल मिली गल बाथी ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।
ओर सखी मद पी पी नाची, मैं मद पिया बिन नाची रे।मैं मद पियो मेरे श्याम धनी को, मस्त रही दिन राती ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।
और रा पिव परदेश बसत है, लिख लिख भेजै पाती रे।मेरा पिया मेरे घट मे बसत है, बात करुं दिन राती ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।
सुरत निरत को दिवलो संजोयो, मनसा री कर लई बाती रे।प्रेम घाणी को तेल संजायो, जग्यो दिन राती ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।
जाउंना पिवरिए रहुँ ना सासरिए, सतगुरु शब्द सुनासी ये।
मीरा के प्रभु गिरधर नागर, हरिचरण मँ चित लाती ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।
सुवा रंग चोला पहन सखी मैं, चिरमट खेलन जाती ये। चिरमट खेलती नै मिलयो सांवरो, घाल मिली गल बाथी ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।मैं तेरै रंग राची ओ साँवरा, मैं तेरै रंग राची ये।