आई शिवरात्रि आई महाशिवरात्रि आई। महामंगल मनोहारी महा शुभरात्रि आई।
शिव शिवा का योग लिए, परम सिद्ध संयोग लिए, सुख रंजन रजनी छाई।आई शिवरात्रि आई महाशिवरात्रि आई। महामंगल मनोहारी महा शुभरात्रि आई।
भस्म रमा के डमरु बजा के देखो बिहाने नाथ चले। नंदी की सवारी करे गंगा धारी सुर असुर के साथ चले। देव दिगंबर अंग भुजंग धर, महादेव जी आज बने बर, बधु बनी है महामाई।आई शिवरात्रि आई महाशिवरात्रि आई। महामंगल मनोहारी महा शुभरात्रि आई।
भव बंधन के तारण हारी सात फेरों में बंधे हैं नाथ। जगत पिता संघ जगजननी मां सारे जगत को करे सनाथ। शिव शक्ति का देख मिलन, झूम रहे हैं धरती गगन, खूब बजी शहनाई। आई शिवरात्रि आई महाशिवरात्रि आई। महामंगल मनोहारी महा शुभरात्रि आई।
शिव शिवा का योग लिए, परम सिद्ध संयोग लिए, सुख रंजन रजनी छाई।आई शिवरात्रि आई महाशिवरात्रि आई। महामंगल मनोहारी महा शुभरात्रि आई।