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श्याम भजन लिरिक्स

Leke hatho me Nishan dar pe aaya pahli baar,लेके हाथों में निशान,दर पे आया पहली बारखाटू वाले से अपनी,मुलाक़ात हो गई,shyam bhajan

लेके हाथों में निशान,
दर पे आया पहली बार
खाटू वाले से अपनी,
मुलाक़ात हो गई,

तर्ज, लेकर पहला पहला प्यार

लेके हाथों में निशान,
दर पे आया पहली बार
खाटू वाले से अपनी,
मुलाक़ात हो गई,
लेके हाथों में निशान…..।

मैंने सुना था बाबा,
हारे का सहारा है,
हर कोई हक़ से कहता,
श्याम हमारा है
मानी मैंने भी ये बात,
खाटू वाला सबके साथ,
पहली बारी में मेरी,
भी बात बन गई
लेके हाथों में निशान…..।

लेके हाथों में निशान,
दर पे आया पहली बार
खाटू वाले से अपनी,
मुलाक़ात हो गई,
लेके हाथों में निशान…..।


सपनो में दिखता अब तो,
मुझे खाटू धाम है,
हाथों की लकीरें बदले,
ऐसा बाबा श्याम है,
दिल में बस गया श्याम का नाम,
जपता सुबह और शाम,
अब तो मुझको भी बाबा,
ये आदत हो गई
लेके हाथों में निशान…..।

लेके हाथों में निशान,
दर पे आया पहली बार
खाटू वाले से अपनी,
मुलाक़ात हो गई,
लेके हाथों में निशान…..।


कैसे न भरोसा करूँ,
मैं अपने श्याम पे,
आज हूँ मैं जो कुछ भी,
हूँ श्याम तेरे नाम से,
मेरे जीवन की पहचान,
बन गया खाटू वाला श्याम,
आरती शर्मा भी श्याम की,
भजनो में खो गई,
लेके हाथों में निशान…..।

लेके हाथों में निशान,
दर पे आया पहली बार
खाटू वाले से अपनी,
मुलाक़ात हो गई,
लेके हाथों में निशान…..।

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