चढ़ो चढ़ो साडू का कंवरा, चढ़ो चढ़ो साडू का वो लाला। आप चढ़या मारो काज सरे, माता साडू पिता भोज जी, रानी पीपल याद करे।।
मालासेरी माला डुंगरिया, ज्यामे धणि अवतार लियो। पत्थर फुट कवला में आया, या दुनिया विश्वास करें।
किणने केवु किणने पुकारू, आप बिना मारो प्राण पड़े। नुगरा के पासे दुरा राखज्यो, देव धणि मेरी विनती सुणे।।
के लख बरजु के लख सिवरा, देव धणि मारी विनती सुणो। विनती सुणो धणि बेगा पधारो, भक्त थाने अरदास करे।।
कलजुग भीड़ चढो धनी देवा, थाने साडू माता याद करे। भेरू लाल भक्ति का दाता, मारा देव धणि ने अर्ज करे।
चढ़ो चढ़ो साडू का कवरा, चढ़ो चढ़ो साडू का वो लाला। आप चढ़या मारो काज सरे, माता साडू पिता भोज जी,
के लख बरजु के लख सिवरा, देव धणि मारी विनती सुणो। विनती सुणो धणि बेगा पधारो, भक्त थाने अरदास करे ।।
कलजुग भीड़ चढो धनी देवा, थाने साडू माता याद करे, भेरू लाल भक्ति का दाता, मारा देव धणि ने अर्ज करे।।
चढ़ो चढ़ो साडू का कवरा, चढ़ो चढ़ो साडू का वो लाला, आप चढ़या मारो काज सरे, माता साडू पिता भोज जी, रानी पीपल याद करे ।।