ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
हरे बांस की तेरी रे मुरलिया। कहां से मिली हरजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
तिरछा चरण धरा पर्वत पर। तिरछी नजर घुमाई रे,मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
मीठी मीठी तान सुरीली। मेरे दिल में धूम मचाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
लोक लाज कुल की मर्यादा। सारी तोड़ भगाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
कुर्ते की जगह लहंगा पहना। मैं चुनरी ओढ़ ना पाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
अपने लल्ला को में लाड करूंगी। दूध भी नहीं पिलाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
सोई थी मैं तो रंग महल में। छोड़ पिया ने भाग आई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।
कृष्ण लाल दीवानी तेरी। ना होती सहन जुदाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।ये कैसी बंसी बजाई रे मैं तो लुट गई रे सांवरिया।