तर्ज,आज मेरे यार की शादी है
आज श्री श्याम पधारे हैं।२ 🦚🦚🦚🦚🦚हम दिनों के भाग्य जगे अब, वारे न्यारे हैं। आज श्री श्याम पधारे हैं।
कोई गंगाजल लाओ, श्याम के चरण धूलवाओ।🦚🦚🦚🦚🦚🦚🦚🦚🦚 सजा लो आज इनको, रिझा लो आज इनको।अंतर केसर श्याम धनी को, लगते प्यारे हैं। आज श्री श्याम पधारे हैं।
रंगीले श्याम जैसा, नहीं कोई और दूजा।🦚🦚बैठकर ऊंचे आसन, करें भक्तों पर शासन ।मुखड़ा ऐसे दमक रहा ज्यों, चांद सितारे हैं। आज श्री श्याम पधारे हैं।
लगा दरबार बैठा, श्याम सरकार बैठा।🦚🦚 अरज जिसने भी लगाई, करे हैं उसकी सुनाई। पल में न्याय मिले मनसे, जो श्याम पुकारे हैं। आज श्री श्याम पधारे हैं।