चलो चलो री झुंझनू के मंदिर आज,दादी दुल्हन बनसी।
आसी तनधन जी लेके बारात, दादी दुल्हन बनसी। 🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹चलो चलो री झुंझनू के मंदिर आज,दादी दुल्हन बनसी।
नाराणी तन्नधन को यो,परिणय त्योहार।
सखियां मिल करसी थारो, सोलह श्रृंगार।
खूब सजवास्यां मैया आज,दादी दुल्हन बनसी।चलो चलो री झुंझनू के मंदिर आज,दादी दुल्हन बनसी।
गोटे जरी को घाघरो मां,लाल कसूमल कब्जो।
माथे माही बोरलो मां, काना माही झुमको।
सच्ची चुंदड़ी उढावा मैया आज,दादी दुल्हन बनसी। 🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹चलो चलो री झुंझनू के मंदिर आज,दादी दुल्हन बनसी।
हाथा थारे मेहंदी रचवावा,लाल सुरंगी निराली।
आंख्या में काजल घलवावां,माथे कुमकुम रोली।
लाल चुडलो पहरावा मैया आज, दादी दुल्हन बन सी।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹 चलो चलो री झुंझनू के मंदिर आज,दादी दुल्हन बनसी।
पैरों में पायल पहनाएं दादी घुंघरू वाली।
हीरे को थाने हार पहरावा,तगड़ी नगीने वाली।
थारी निजरा उतारा मैया आज,दादी दुल्हन बन सी।🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹 चलो चलो री झुंझनू के मंदिर आज,दादी दुल्हन बनसी।
नए नए भजन

रानीसती दादी भजन