तर्ज, उठ जाग मुसाफिर भोर भई हे स्वामी नींद से जागिए अब, हमें त्याग करना है कन्हाई का। निष्ठुर प्रहरी सब सो गए हैं, बज देखे हैं राह बधाई का।हे स्वामी नींद से जागिए अब, हमें त्याग करना है कन्हाई का।हे स्वामी नींद से जागिए अब। मेरे सातों संतानों को, उस कंस ने मुझसे छीन […]