माथे पे रख लेंन अपना, ठुमको गौर लगाबा। चैत सुहावन आयो नि मांडवा, चलो गणगौर मनावा।चलो गणगौर मनावा। बेसर बिंदी झुमका कावली, पायल छन छन छनके। घना सजीला रनू बाई आवा, सुंदर मुखड़ा दमके। नजराबेली बेटी सुंदर, काजल टपकी लगावा।चैत सुहावन आयो नि मांडवा, चलो गणगौर मनावा।चलो गणगौर मनावा। नवरंग लाडी चमचम साड़ी, चली बड़ी […]