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krishna bhajan lyrics कृष्ण भजन लिरिक्स

Mero Vrindavan Sasural Main Dulhan Nandlal ki re,हो मेरा वृंदावन ससुराल में दुल्हन नंदलाल की रे,krishna bhajan

हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे। नंदलाल की रे, मांग भरूं उसके नाम की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।

मेरी जमुना पार हवेली। गोपी है यह सारी सहेली मेरे पति है ब्रज को राजा। ना हूं मैं कोई जग में अकेली। हो मैं तो हो गई देखो निहाल, में दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।

मेरी सास यशोदा मैया, मैं तो पकडूं इनकी बईया। मेरे पति है ग्वाल गाय को। संग में बैठूं इनकी छैया। हो मेरा भाग्य बड़ा कमाल ,मैं दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।

मेरे पति सेठा को सेहै। जिसकी लागू में सेठानी। करते ना कोई मुझसे ऐंठ है।बना के रा मौकों रानी। हो वह तो भर भर बाटे माल, में दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।

नंद बाबा की आंखों का तारा। सुनील शर्मा का यह है हारा। संतो के यह मन में समाये। भक्त मुकेश तेरा गुण गाए। जो सारे जग की कर संभाल ,में दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।

हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे। नंदलाल की रे, मांग भरूं उसके नाम की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।हो मेरा वृंदावन ससुराल, में दुल्हन नंदलाल की रे।

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