तर्ज, गजब भयो रामा जुलम भयो रे
आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।
घर की किचकिच से तंग आयो।घर की किचकिच से तंग आयो। अपने घर में मान गंवायो। अब होवे ना लुगाई से रोज झगड़ो।म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।
देखया था दिन कैसा कैसा।देखया था दिन कैसा कैसा। घर का कहता लाओ पैसा। अब कोई ना रगड़ो ना कोई लफड़ो।म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।
क्यों करस्यां में झूठी बडाई।क्यों करस्यां में झूठी बडाई। जो बीती थाने ही सुनाई। आज बोल रहयो बोल रहयो गांव सगलो।म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।
जो भी सेठ के पल्ले पड़ गयो।जो भी सेठ के पल्ले पड़ गयो। बोले पवन निजरा में चढ़ गयो।कद रहवे नहीं जीवन में वो कड़को।म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।
आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।आज मिट गयो मिट गयो, सारो रगड़ो। म्हाने मिल गयो मिल गयो सेठ तगडो।