निर्बल होकर कोई, जब उन्हें पुकारा है।निर्बल होकर कोई, जब उन्हें पुकारा है।निर्बल होकर कोई, जब उन्हें पुकारा है। फिर कौन बिगाड़ेगा तेरा राम सहारा है।निर्बल होकर कोई,
पतवार पे हो रघुवर, तूफान से क्या डरना ।जब काम हो रघुवर का तो, क्या जीना क्या मरना।पतवार पे हो रघुवर, तूफान से क्या डरना ।जब काम हो रघुवर का तो, क्या जीना क्या मरना। रघुनाथ के भक्तों का, हो बुलंद सहारा है। फिर कौन बिगाड़ेगा तेरा राम सहारा है।निर्बल होकर कोई,
कोई राम राम कहता,कोई शिव शिव कहता है।कोई कृष्णा राधे राधे,कोई ध्यान लगाता है।कोई राम राम कहता,कोई शिव शिव कहता है।कोई कृष्णा राधे राधे,कोई ध्यान लगाता है।ये भी हमे प्यारा है,वो भी हमें प्यारा है। फिर कौन बिगाड़ेगा तेरा राम सहारा है।निर्बल होकर कोई,
मैने जीवन सौंप दिया,रघुनाथ के हाथों में।अब पार लगाएंगे,नैया मेरी हाथों से।मैने जीवन सौंप दिया,रघुनाथ के हाथों में।अब पार लगाएंगे,नैया मेरी हाथों से।रघुनाथ के भक्तों का,कोई कुछ ना बिगाड़ा है। फिर कौन बिगाड़ेगा तेरा राम सहारा है।निर्बल होकर कोई,
तकलीफें जीवन में, आनी और जानी है।डरना ही मुसीबत से,तेरी नादानी है।तकलीफें जीवन में, आनी और जानी है।डरना ही मुसीबत से,तेरी नादानी है। हानी तूं भी नहीं दुःख में,हिम्मत नहीं हारा है।निर्बल होकर कोई, जब उन्हें पुकारा है। फिर कौन बिगाड़ेगा तेरा राम सहारा है।निर्बल होकर कोई,