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शिव भजन लिरिक्सshiv bhajan lyrics

Sawan Ki Barse Rimjhim Phuhar,सावन की बरसै रिमझिम फुंहार,shiv bhajan

सावन की बरसै रिमझिम फुंहार,


सावन की बरसै रिमझिम फुंहार,
पेड़ों पे झूलो की लगी कतार,
गौरा झूला झूल रही भोले नाथ संग,
मैया झूला झूल रही भोले नाथ संग,
गौरा झूला झूल रही भोले नाथ संग,
मैया झूला झूल रही भोले नाथ ंग।



कुहू कुहकती है कोयल,
पीहू-पीहू पपीहा पुकारेँ,
भोले दानी के दर्शन करने,
भगत हजारो पधारें,
झूलन की रुत है आई,
गौरा झूल झूल रही भोले नाथ संग,
मैया झूला झूल रही भोले नाथ के संग।



भोले बाबा के डमरुँ पे,
नंदी गणपत भी झूम रहे हैं,
बादलोँ को भी देखो इन पर,
कैसे मोती बरसा रहे है,
पवन चले पुरवाई,
गौरा झूल झूल रही भोले नाथ संग,
मैया झूला झूल रही भोले नाथ के संग।



देवता भी संग में आज,
हो कर मगन नाँचते हैं,
हाथ जोड़ इनसे,
आशीर्वाद सभ माँगते हैं,
महिमा ये ना गाई जाए,
गौरा झूला झूल रही भोले नाथ संग,
मैया झूल झूल रही भोले नाथ के संग,


सावन की बरसै रिमझिम फुंहार,
पेड़ों पे झूलो की लगी कतार,
गौरा झूला झूल रही भोले नाथ संग,
मैया झूला झूल रही भोले नाथ के संग।

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