पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है,
सबसे निराला, सबसे निराला,
पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है…
शीश भोले के जटा विराजे,
जटा में गंगा कि धार, धार में जगत नहाता है,
पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है…
गले भोले के सर्पो की माला,
माथे पे चंदा तिलक जगत उजियारा फैलाता है,
पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है…
अंग भबुती तन बाघमबर,
सुन डमरु की तान वो सारे जग को नचाता है,
पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है…
संग भोले के गौरा विराजे
गोदी में गणपत लाल वो सबके कष्ट मिटाता है,
पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है…
करता है बैलो की सवारी,
पर्वत ऊपर वास सारे जग से निराला है,
पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है…
Categories
parvati tera bhola jagat mein sabse nirala hai,पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है,shiv bhajan
पार्वती तेरा भोला जगत में सबसे निराला है,