उडे जब-जब गौरा जी की चुनरी, कि भोले जी का दिल मचले, गौरा मेरी है। उडे जब-जब गौरा जी……..
गौरा जी के माथे की बिदियाँ, कि सिंदूरा पे दिल मचले, गौरा मेरी है, उडे जब-जब गौरा जी..
गौरा जी के कानों के कुण्डल, कि हरवा पे दिल मचले, गौरा मेरी है,उडे जब-जब गौरा जी..
गौरा जी के हाथों का कंगना, कि मेंहदी पे दिल मचले, गौरा मेरी है, उडे जब-जब गौरा जी……….
गौरा जी के पावों की पाँयल, कि महावर पे दिल मचले, गौरा मेरी है। उडे जब-जब गौरा जी………..
गौरा जी के अंगों का लहंगा, कि चुनरी पे दिल मचले, गौरा मेरी है।
उडे जब-जब गौरा जी………..