तर्ज,हमे तो लूट लिया
कृष्ण का जन्म हुआ नंद के घराने में। नाम बदनाम हुआ माखन के चुराने मे।
काहे की मटकी बनी काहे से भराई है। कौन के लालना ने फोड़ फोड़ खाई है।
नंद के लालना ने फोड़ फोड़ खाई है। माटी की मटकी बनी दहिया से भराई हैं ।काहे का पलना बना काहे से जड़ाया है।
कौन के लालना को नींद भर सुलाया है।
काहे की गेंद बनी कोन ने खिलाई ह।यशोदा के लालना ने यमुना मे गिराई है। काहे की बंसी बनी काहे से जड़ाई है। कौन के लालना ने तान भर सुनाई है।
बांस की बंसी बनी स्वरों से जड़ाई हैं। नंद के लालना ने तान भर सुनाई है।
कौन ने जन्म दिया कौन ने खिलाया है। कोन से प्रेम किया कौन को तड़पाया है ।
देवकी ने जन्म दिया यशोदा ने खिलाया है।राधा से प्रेम किया मीरा को तड़पाया है।