तर्ज – मिलती है जिंदगी में मोहब्बत कभी-कभी
एक बार हमसे साँवरे नजरे मिलाइये,
नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।
नजरे हमारी आपकी चौखट पे है अड़ी,
फिर भी निहारे राह बिचारी खड़ी खड़ी,
नजरो पर कर रहम इन्हे अब ना सताइये।नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।एक बार हमसे साँवरे नजरे मिलाइये,
नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।
एक बार हमसे साँवरे नजरे मिलाइये,
नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।
दिल को तो हमने आपके चरणों में रख दिया,
दुनिया हमारी आप है इतना समझ लिया,
अब आप अपने हाथ से इसको सजाइये।नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।
एक बार हमसे साँवरे नजरे मिलाइये,
नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।
ये जान कर भी आप यहीं आस पास है,
फिर भी समझ ना आवे ये दिल क्यों उदास है,
जज्बात दिल के जान जरा पास आइये।
एक बार हमसे साँवरे नजरे मिलाइये,
नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।
प्रहलाद सा बनूँ प्रभु हनुमत सी शक्ति हो,
गाउँ भजन मैं झूम के मीरा सी मस्ती हो,
नन्दू गले से अपने मुझको लगाइये।
एक बार हमसे साँवरे नजरे मिलाइये,
नजरे मिलाके श्याम जरा मुस्कुराइए।