चू चू चू करे चिरैया जागो मेरे कृष्ण कन्हैया, हुआ अब भोर रे। भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।
चांद छुपा और सूरज निकला जागे सब नर और नारी रे। तुम नहीं जागे कृष्ण मुरारी कैसी नींद तुम्हारी रे। बन में मचाए शोर पपीहा और मौर रे।भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।
चू चू चू करे चिरैया जागो मेरे कृष्ण कन्हैया, हुआ अब भोर रे। भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।
ब्रह्मा जागे विष्णु जागे जागे गौरी के लाला। गाउवे जागी बछड़े जागे जागे गोपी और ग्वाला। सखियान संग राधा देखो करती किलोल रे। भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।
चू चू चू करे चिरैया जागो मेरे कृष्ण कन्हैया, हुआ अब भोर रे। भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।
33 कोटि देवता जागे और जागे विषधर काले।। धरती के सब जीव है जागे तुम न जगे मुरली वाले। बैया पकड़कर यशोदा रही झकझोर रे।भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।
चू चू चू करे चिरैया जागो मेरे कृष्ण कन्हैया, हुआ अब भोर रे। भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।
चू चू चू करे चिरैया जागो मेरे कृष्ण कन्हैया, हुआ अब भोर रे। भूरी गैया का बछड़ा गया खूंटा तोड़ रे।