तर्ज – बन्ना रे बागा में झूला घाल्या
सांवरिया म्हारे आंगनिया में आजो, म्हारे आँगन बेगा आज्यो, म्हारा श्याम सलोना, म्हारे आँगन बेगा आज्यो, म्हारा श्याम सलोना।
आंखड़ल्या थारी बाट उडीका, कद आवोला बोलो, चुप चुप इयां बैठ्या रिजो, मुंडा ने तो खोलो, म्हारे मनड़े री बाता सुणजो, म्हारा श्याम सलोना, म्हारे आँगन बेगा आज्यो, म्हारा श्याम सलोना।
सांवली सूरत मोहनी मूरत, मनडे माहि भागी, मुरली की धुन मीठी रे मीठी, प्यारी प्यारी लागि, म्हारे सपने में सांवरिया आजो, म्हारा श्याम सलोना, म्हारे आँगन बेगा आज्यो, म्हारा श्याम सलोना ।
हाथ जोड़कर विनती करस्या, ‘प्रेम’ करे गुणगान, ‘चंचल’ थारी महिमा गा रही, लाज रखो श्री श्याम, मने खाटू में थे तो बुलाजो, म्हारा श्याम सलोना, म्हारे आँगन बेगा आज्यो, म्हारा श्याम सलोना ।
सांवरिया म्हारे आंगनिया में आजो, म्हारे आँगन बेगा आज्यो, म्हारा श्याम सलोना, म्हारे आँगन बेगा आज्यो, म्हारा श्याम सलोना।