तर्ज,फिरकी वाली
काले काले ओ कमली वाले तेरे नखरे हजार है।तेरी मुरली पे नाचे ग्वाल बाल है।
तुमने कहा था मैं यमुना पर मिलूंगा, मैं आई तुम ना आया। मेरे दोनों नैना तरसे, तुम निकले ना घर से।काले काले ओ कमली वाले तेरे नखरे हजार है।तेरी मुरली पे नाचे ग्वाल बाल है।
तुमने कहा था मैं मथुरा में मिलूंगा मैं आई तुम ना आया। मेरा दिल यह धक धक करे, तू निकले ना घर से।काले काले ओ कमली वाले तेरे नखरे हजार है।तेरी मुरली पे नाचे ग्वाल बाल है।
तुमने कहा था बरसाने में मिलूंगा, मैं आई तुम ना आया।मेरे दोनों नैना तरसे, तुम निकले ना घर से।काले काले ओ कमली वाले तेरे नखरे हजार है।तेरी मुरली पे नाचे ग्वाल बाल है।
तुमने कहा था मैं कीर्तन में मिलूंगा।मैं आई तुम ना आया।मेरे दोनों नैना तरसे, तुम निकले ना घर से।काले काले ओ कमली वाले तेरे नखरे हजार है।तेरी मुरली पे नाचे ग्वाल बाल है।
काले काले ओ कमली वाले तेरे नखरे हजार है।तेरी मुरली पे नाचे ग्वाल बाल है।