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श्याम भजन लिरिक्स

He dinbandhu sharan hu tumhari khabar lo hamari,हे दीनबंधु शरण हूँ तुम्हारी, खबर लो हमारी,

हे दीनबंधु शरण हूँ तुम्हारी, खबर लो हमारी ।।

हे दीनबंधु शरण हूँ तुम्हारी, खबर लो हमारी ।।



ये माना के गलती हम से हुई है, भुलाया है तुझको, अपने पराये का भेद ना जाना, माफ करो हमको, आखिर तो गम में याद किया है, तुम को मुरारी, हे दीनबन्धु शरण हूँ तुम्हारी, खबर लो हमारी ।।



दीनों के नाथ तुमने दुखियाँ कोई हो, गले से लगाया, गोद में बिठा के उसके आंसू को पौंछा, थोड़ा थप थपाया, करूणा के सिंधु इधर भी नजर कर, मैं कब का दुखारी, हे दीनबन्धु शरण हूँ तुम्हारी, खबर लो हमारी ।।

हमने सुना है कान्हा, तेरी खुदाई का जोड़ नहीं है, जाये कहा हम कान्हा, तेरे सिवा कोई ठोर नहीं है, दो बूंद सागर से हम को भी दे दो, हो तृप्ति हमारी,

हे दीनबन्धु शरण हूँ तुम्हारी, खबर लो हमारी ।।

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