दरबार में शेरावाली के
तकदीर बदलती देखी है
दरबार में शेरावाली के।
दरबार में जो माँ के आया।उसका मंगल हो जाता है ।
खाली झोली अम्बे मैया
तेरे दर पर भरती देखी है
दरबार में शेरावाली के,तकदीर बदलती देखी है।
दुनिया में ऐसी छांव नहीं
जो तेरे दर के जैसी है
तेरे दर पे हे अम्बे मैया
दर्शन भीड़ जुटती देखी है
दरबार में शेरावाली के,तकदीर बदलती देखी है।
कहीं नहीं माँ इस दुनिया में
तेरे दर के जैसी ज्योति माँ
बिन घी हमने तेरे मंदिर में
ज्योती जलती देखी है
दरबार में शेरावाली के,तकदीर बदलती देखी है।
तेरे दर पर जो मानव आया
तू सबके दुखड़े हरती है
तेरी लीला अपरम्पार है माँ
खाली गोद भी भरती देखी है
दरबार में शेरावाली के,तकदीर बदलती देखी है।
दरबार में शेरावाली के
तकदीर बदलती देखी है
दरबार में शेरावाली के।