तर्ज,आने से उसके आए बहार
आने से उसके सखियां डरे,
माखन की मटकीया घर मे धरे,
बड़ा मतवाला है तेरा बंसी वाला।।
गुन गुनाये बंसी,
की धुन पे वो सबको नचाये,
ना नाचे जो हम तो,
तेरा कान्हा ये हमको सताये,
माने ना इक मोरी,
करे मनमानी ये तेरा बंसी वाला,
बड़ा मतवाला है तेरा बंसी वाला।।
आने से उसके सखियां डरे,
माखन की मटकीया घर मे धरे,
बड़ा मतवाला है तेरा बंसी वाला।।
पन घट पे आके,
तेरा कान्हा ये बईया मरोड़े,
मै बोलुं तो मेरी,
तेरा कान्हा ये मटकीया फ़ोडे,
माने ना इक मोरी,
करे मनमानी ये तेरा बंसी वाला,
बड़ा मतवाला है तेरा बंसी वाला।।
आने से उसके सखियां डरे,
माखन की मटकीया घर मे धरे,
बड़ा मतवाला है तेरा बंसी वाला।।
नहाने हम जो जाये,
तेरा कान्हा ये चुनरी छुपाये,
हम माँगे जो चुनरी,
तेरा कान्हा ये बाहर बुलाये,
माने ना इक मोरी,
करे मनमानी ये तेरा बंसी वाला,
बड़ा मतवाला है तेरा बंसी वाला।।
आने से उसके सखियां डरे,
माखन की मटकीया घर मे धरे,
बड़ा मतवाला है तेरा बंसी वाला।।