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durga bhajan lyrics दुर्गा भजन लिरिक्स

Chatra dekhti na ma chunari dekhti bhaw apne bhakt ka meri maiya dekhti,छत्र देखती ना माँ चुनरिया देखती,भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती,durga bhajan

छत्र देखती ना माँ चुनरिया देखती,
भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती।






छत्र देखती ना माँ चुनरिया देखती
छत्र देखती ना माँ चुनरिया देखती,
भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती।



माँ भला कब किसी का क्या खाये,
सारी दुनिया को वो तो खिलाये,
भाव की माँ की भूखी खाने रूखी सुखी,
छोड़ के भोग छप्पन चली आये,
माँ तो बस खिलने का नजरिया देखती।

छत्र देखती ना माँ चुनरिया देखती,
भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती।



माँ भला कब किसी से क्या लेती,
वो तो खुद ही ज़माने को देती,
फूल काफी है दो हो अगर भाव तो,
फूल काफी है दो हो अगर भाव तो,
भाव बिन छत्र सोने का ठुकरादेति,
भेट चढ़ावे की ना गहरिया देखती,
भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती।

छत्र देखती ना माँ चुनरिया देखती,
भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती।



लाख बंगला कोई माँ सजाये,
चौकी चन्दन की चाहे लगाए,
टूटे आसान पे वो बैठे जो भाव हो,
भाव के बिन सिंहासन भी न भावे,
ऊँची हवेली ना माँ झुपड़िया देखती
भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती।

छत्र देखती ना माँ चुनरिया देखती,
भाव अपने भक्त का मेरी मैया देखती।

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