तर्ज – तुम तो ठहरे परदेसी।
भूल गए बनवारी,
लौट कब आओगे,
वादा जो किया तुमने,
कब उसे निभाओगे,
भुल गए बनवारी,
लौट कब आओगे।।
मिल रहा नहीं मुझको,
श्याम से नहीं प्यारा,
प्यासी इन अँखियों को,
दर्श कब दिखाओगे,
भुल गए बनवारी,
लौट कब आओगे।।
क्या करेंगे हम आखिर,
जोर ना हमारा है,
चाहोगे वही होगा,
कब नज़र आओगे,
भुल गए बनवारी,
लौट कब आओगे।।
जिसने भी पुकारा है,
दौड़े चले आए हो,
मुझसे क्या शिकायत है,
कब हमें बताओगे,
भुल गए बनवारी,
लौट कब आओगे।।
एक ही भरोसा है,
तू ही तो किनारा है,
‘भगवत’ को चरणों में,
श्याम कब लगाओगे,
Bhajan Diary Lyrics,
भुल गए बनवारी,
लौट कब आओगे।।
भूल गए बनवारी,
लौट कब आओगे,
वादा जो किया तुमने,
कब उसे निभाओगे,
भुल गए बनवारी,
लौट कब आओगे।।
भूल गए बनवारी,
लौट कब आओगे,
वादा जो किया तुमने,
कब उसे निभाओगे,
भुल गए बनवारी,
लौट कब आओगे।।