तर्ज,मेरा नाम है चमेली
महफिल श्याम की सजाई, लड़ियां फूलों की लगवाई, आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।
गजरा फूलों का मंगवाया, इत्तर खूब छिड़काया। आने वाले हैं लीले के असवार जी।आने वाले हैं लीले के असवार जी।
घेर घुमेर बागा हमने जयपुर से मंगवाया।लड़ियों वाला मोर मुकुट कलकत्ते से घड़वाया।दिल्ली से सिंहासन मंगवाया।🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺भजन सुनाने दूर दूर से श्याम की टोली आई।
महफिल श्याम की सजाई, लड़ियां फूलों की लगवाई, आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।
भांति भांति के व्यंजन भी है भोग में लगवाए।पेड़ा चिड़ावा से मंगवाया फल कश्मीर से लाए।खीर और चूरमा घर में बना।छप्पन भोग में आई देखो हल्दीराम की मिठाई।
महफिल श्याम की सजाई, लड़ियां फूलों की लगवाई, आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।
आए भक्ति रंग में दीवाने आया है सांवरिया। दीवानों को देख देख खुश होगा मेरा सांवरिया। मनका उपवन खीलने लगा। लीले घोड़े की टप टप की आवाज दी है सुनाई।
महफिल श्याम की सजाई, लड़ियां फूलों की लगवाई, आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।आने वाले हैं खाटू के सरकार जी।