मेरी चुनर पर रंग मत डाल रसिया, मेरी चूनर बड़ी अनमोल रसिया।
Tag: krishna bhajan
आने से उसके सखियां डरे,
माखन की मटकीया घर मे धरे,
झलक बांके बिहारी की मेरे इस मन में भाई है
कैसे आओ रे किशन थारी ब्रिज नगरी,
श्याम सुंदर तुम्हारी चितवन मधुर ब्रिज गलियों में मुझको नचा ने लगी
नी मैं नचना मोहन दे नाल,
आज मैनु नच लेन दे॥
मुझे द्वारका दिखा दो नंदलाला, नंदलाला भये गोपाला।
अटक अटक झटपट पनघट पर
चटक मटक एक नार नवेली
मटकी ना फोड़, तोह ते विनती करूँ मैं कर जोड़, मटकी ना फोड, मटकी ना फोड।।
लूट के ले गया दिल जिगर,सांवरा जादूगर
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